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| '''जपजी''' [[सिक्ख धर्म]] का प्रसिद्ध नित्यपाठ का [[ग्रंथ]] है। इसमें पद्य एवं भजनों का संग्रह है। 'जपजी' का [[सिक्ख|सिक्खों]] के लिए वही महत्त्व है, जो [[हिन्दू|हिन्दुओं]] के लिए '[[गीता]]' का है।
| | #REDIRECT [[जपुजी]] |
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| *इस ग्रंथ में संग्रहित पदों को [[गुरु नानक]] ने भगवान की स्तुति एवं अपने अनुयायियों की दैनिक प्रार्थना के लिए रचा था।
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| *[[गुरु अर्जुन देव]] ने अपने कुछ भजनों को इसमें जोड़ा था।
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| *'जपजी' सिक्खों की पाँच प्रार्थना पुस्तकों में से प्रथम है तथा प्रात:कालीन प्रार्थना के लिए व्यवहृत होता है।<ref>{{पुस्तक संदर्भ |पुस्तक का नाम=हिन्दू धर्मकोश|लेखक=डॉ. राजबली पाण्डेय|अनुवादक= |आलोचक= |प्रकाशक=उत्तर प्रदेश हिन्दी संस्थान |संकलन= |संपादन= |पृष्ठ संख्या=275|url=}}</ref>
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| {{लेख प्रगति|आधार=|प्रारम्भिक=प्रारम्भिक1|माध्यमिक= |पूर्णता= |शोध= }}
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| ==टीका टिप्पणी और संदर्भ==
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| <references/>
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| ==संबंधित लेख==
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| {{सिक्ख धर्म}}
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| [[Category:सिक्ख धर्म]][[Category:धर्मशास्त्रीय ग्रन्थ]][[Category:सिक्ख धर्म कोश]]
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