Template:साप्ताहिक सम्पादकीय: Difference between revisions
Jump to navigation
Jump to search
[unchecked revision] | [unchecked revision] |
No edit summary |
गोविन्द राम (talk | contribs) No edit summary |
||
Line 1: | Line 1: | ||
{| style="background:transparent; width:100%" | {| style="background:transparent; width:100%" | ||
|+style="text-align:left; padding-left:10px; font-size:18px"|<font color="#003366">[[भारतकोश सम्पादकीय | |+style="text-align:left; padding-left:10px; font-size:18px"|<font color="#003366">[[भारतकोश सम्पादकीय 4 जून 2016|भारतकोश सम्पादकीय <small>-आदित्य चौधरी</small>]]</font> | ||
|- | |- | ||
{{मुखपृष्ठ-{{CURRENTHOUR}}}} | {{मुखपृष्ठ-{{CURRENTHOUR}}}} | ||
Line 6: | Line 6: | ||
|- valign="top" | |- valign="top" | ||
| | | | ||
<center>[[भारतकोश सम्पादकीय | <center>[[भारतकोश सम्पादकीय 4 जून 2016|शहीद मुकुल द्विवेदी के नाम पत्र]]</center> | ||
[[चित्र: | [[चित्र:Mukul-Dvawedi.jpg|right|100px|border|link=भारतकोश सम्पादकीय 4 जून 2016]] | ||
<poem> | <poem> | ||
हमारे देश में किसी भी सेना या बल के जवान की जान की क़ीमत कितनी कम है इसका अंदाज़ा तुमको बख़ूबी होगा। हमारे जवान, सन् 62 की चीन की लड़ाई में बिना रसद और हथियारों के लड़ते रहे, कुछ वर्ष पहले मिग-21 जैसे कबाड़ा विमानों में एयरफ़ोर्स के पायलट बेमौत मरते रहे, पड़ोसी देश के दरिंदे हमारे सिपाहियों के सर काटकर ले जाते रहे, कश्मीर के साथ न्याय करने के बहाने भयानक अन्याय को सहते रहे, घटिया स्तर के नेताओं की जान बचाने के लिए अपनी जानें क़ुर्बान करते रहे, इन जवानों की शहादत इस बात का सबसे बड़ा प्रमाण था कि हमारी सरकारें देश के नौनिहालों को लेकर किस क़दर लापरवाह है। [[भारतकोश सम्पादकीय 4 जून 2016|पूरा पढ़ें]] | |||
</poem> | </poem> | ||
<center> | <center> | ||
Line 15: | Line 15: | ||
|- | |- | ||
| [[भारतकोश सम्पादकीय -आदित्य चौधरी|पिछले सभी लेख]] → | | [[भारतकोश सम्पादकीय -आदित्य चौधरी|पिछले सभी लेख]] → | ||
| [[भारतकोश सम्पादकीय | | [[भारतकोश सम्पादकीय 17 मार्च 2016|हिन्दी के ई-संसार का संचार]] · | ||
| [[भारतकोश सम्पादकीय | | [[भारतकोश सम्पादकीय 5 अक्टूबर 2015|ये तेरा घर ये मेरा घर]] | ||
|} | |} | ||
---- | ---- |
Revision as of 15:25, 4 June 2016
|