सिहावा: Difference between revisions
Jump to navigation
Jump to search
[unchecked revision] | [unchecked revision] |
('{{पुनरीक्षण}} *वर्तमान में सिहावा स्थान महानदी के उद्...' के साथ नया पन्ना बनाया) |
No edit summary |
||
Line 1: | Line 1: | ||
{{पुनरीक्षण}} | {{पुनरीक्षण}} | ||
*वर्तमान में सिहावा | *वर्तमान में सिहावा रायपुर के समीप धमतरी ज़िले में स्थित एक पर्वत श्रेणी है। इस पर्वतश्रेणी में ही महानदी का उद्गम होता है। | ||
*[[किंवदंती]] है कि इस स्थान पर पूर्वकाल में श्रृंगी आदि सप्तऋषियों की तपोभूमि थी, जिनके नाम से प्रसिद्ध कई गुफाएँ | *[[किंवदंती]] है कि इस स्थान पर पूर्वकाल में श्रृंगी आदि सप्तऋषियों की तपोभूमि थी, जिनके नाम से प्रसिद्ध कई गुफाएँ पहाड़ियों के उच्चशिखरों पर अवस्थित हैं। | ||
*सिहावा के खंडहरों से छः मंदिरों के अवशेष प्राप्त हुए हैं। | *सिहावा के खंडहरों से छः मंदिरों के अवशेष प्राप्त हुए हैं। | ||
*पाँच मन्दिरों का निर्माण चन्द्रवंशी राजा कर्ण ने 1114 शक संवत (1192 ई.) के लगभग करवाया था। | *पाँच मन्दिरों का निर्माण चन्द्रवंशी राजा कर्ण ने 1114 शक संवत (1192 ई.) के लगभग करवाया था। | ||
*यह बात यहाँ के एक अभिलेख से स्पष्ट होती है। इस अभिलेख से सूचित होता है कि इस स्थान का नाम देवह्रद था और इसे तीर्थ के रूप में मान्यता प्राप्त थी। | *यह बात यहाँ के एक अभिलेख से स्पष्ट होती है। इस अभिलेख से सूचित होता है कि इस स्थान का नाम देवह्रद था और इसे एक तीर्थ के रूप में मान्यता प्राप्त थी। | ||
Revision as of 05:30, 24 June 2011
चित्र:Icon-edit.gif | इस लेख का पुनरीक्षण एवं सम्पादन होना आवश्यक है। आप इसमें सहायता कर सकते हैं। "सुझाव" |
- वर्तमान में सिहावा रायपुर के समीप धमतरी ज़िले में स्थित एक पर्वत श्रेणी है। इस पर्वतश्रेणी में ही महानदी का उद्गम होता है।
- किंवदंती है कि इस स्थान पर पूर्वकाल में श्रृंगी आदि सप्तऋषियों की तपोभूमि थी, जिनके नाम से प्रसिद्ध कई गुफाएँ पहाड़ियों के उच्चशिखरों पर अवस्थित हैं।
- सिहावा के खंडहरों से छः मंदिरों के अवशेष प्राप्त हुए हैं।
- पाँच मन्दिरों का निर्माण चन्द्रवंशी राजा कर्ण ने 1114 शक संवत (1192 ई.) के लगभग करवाया था।
- यह बात यहाँ के एक अभिलेख से स्पष्ट होती है। इस अभिलेख से सूचित होता है कि इस स्थान का नाम देवह्रद था और इसे एक तीर्थ के रूप में मान्यता प्राप्त थी।
|
|
|
|
|