व्योमेश चन्द्र बनर्जी: Difference between revisions
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*वे अंग्रेज़ी चाल-ढाल के कट्टर अनुयायी थे, अत: स्वयं अपने पारिवारिक नाम 'बनर्जी' का अंग्रेज़ीकरण करके उसे '''बोनर्जी''' कर दिया और अपने पुत्र का नाम भी 'शेली' रखा, लेकिन [[ | *वे अंग्रेज़ी चाल-ढाल के कट्टर अनुयायी थे, अत: स्वयं अपने पारिवारिक नाम 'बनर्जी' का अंग्रेज़ीकरण करके उसे '''बोनर्जी''' कर दिया और अपने पुत्र का नाम भी 'शेली' रखा, लेकिन [[हृदय]] से वे सच्चे भारतीय थे। इसलिए भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के [[1885]] ई. में हुए प्रथम अधिवेशन के वे अध्यक्ष चुने गये। उन्हें दुबारा भी [[इलाहाबाद]] में [[1892]] ई. में हुए कांग्रेस अधिवेशन का अध्यक्ष बनाया गया। | ||
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Revision as of 14:45, 5 December 2010
- व्योमेश चन्द्र बनर्जी (जन्म- 29 दिसंबर, 1844, कोलकाता; मृत्यु- 21 जुलाई 1906 इंग्लैंड) भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के प्रथम अध्यक्ष और कोलकाता उच्च न्यायालय के प्रमुख वक़ील थे।
- वे अंग्रेज़ी चाल-ढाल के कट्टर अनुयायी थे, अत: स्वयं अपने पारिवारिक नाम 'बनर्जी' का अंग्रेज़ीकरण करके उसे बोनर्जी कर दिया और अपने पुत्र का नाम भी 'शेली' रखा, लेकिन हृदय से वे सच्चे भारतीय थे। इसलिए भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के 1885 ई. में हुए प्रथम अधिवेशन के वे अध्यक्ष चुने गये। उन्हें दुबारा भी इलाहाबाद में 1892 ई. में हुए कांग्रेस अधिवेशन का अध्यक्ष बनाया गया।
- 1902 ई. में वे इंग्लैंड जाकर बस गये। 1906 ई. में अपनी मृत्यु पर्यन्त भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के आंदोलन को बढ़ावा देते रहे।
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टीका टिप्पणी और संदर्भ