जहाँपनाह नगर: Difference between revisions

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
Jump to navigation Jump to search
[unchecked revision][unchecked revision]
No edit summary
No edit summary
Line 1: Line 1:
[[चित्र:Mosque-Exterior-1.jpg|thumb|250px|मस्जिद मस्जिद का बाहरी हिस्सा, जहाँपनाह]]
[[चित्र:Begampur-Masjid.jpg|thumb|बेगमपुर मस्जिद, जहाँपनाह]]
'''जहाँपनाह नगर''' वर्तमान [[दिल्ली]] के निकट तुग़लक कालीन एक ऐतिहासिक ध्वस्त नगर है। [[मुहम्मद तुग़लक़]] ने 1350 ई. के लगभग इस शहर की बुनियाद डाली थी। जहाँपनाह को दिल्ली के सात नगरों में से चौथा नगर कहा जाता है। जहाँपनाह की सीमा [[पिथौरागढ़]] और सीरी<ref>[[अलाउद्दीन ख़िलज़ी]] की दिल्ली</ref> दोनों के परकोटों को मिलाकर बनाई गई थी।  
'''जहाँपनाह नगर''' वर्तमान [[दिल्ली]] के निकट तुग़लक कालीन एक ऐतिहासिक ध्वस्त नगर है। [[मुहम्मद तुग़लक़]] ने 1350 ई. के लगभग इस शहर की बुनियाद डाली थी। जहाँपनाह को दिल्ली के सात नगरों में से चौथा नगर कहा जाता है। जहाँपनाह की सीमा [[पिथौरागढ़]] और सीरी<ref>[[अलाउद्दीन ख़िलज़ी]] की दिल्ली</ref> दोनों के परकोटों को मिलाकर बनाई गई थी।  
*इसके अंदर का एक सुंदर प्रासाद बनवाया गया, जिसे बदी-ए-मंजिल<ref>आनन्द-भवन</ref> कहा जाता था।  
*इसके अंदर का एक सुंदर प्रासाद बनवाया गया, जिसे बदी-ए-मंजिल<ref>आनन्द-भवन</ref> कहा जाता था।  
Line 8: Line 8:
चित्र:Tomb-Mosque-Khirki.jpg|मक़बरा और मस्जिद, खिरकी, जहाँपनाह
चित्र:Tomb-Mosque-Khirki.jpg|मक़बरा और मस्जिद, खिरकी, जहाँपनाह
चित्र:Lal-Gumbad.jpg|लाल ग़ुम्बद,जहाँपनाह
चित्र:Lal-Gumbad.jpg|लाल ग़ुम्बद,जहाँपनाह
चित्र:Begampur-Masjid.jpg|बेगमपुर मस्जिद, जहाँपनाह
चित्र:Mosque-Exterior-1.jpg|मस्जिद मस्जिद का बाहरी हिस्सा, जहाँपनाह
</gallery>
</gallery>



Revision as of 04:54, 22 October 2011

thumb|बेगमपुर मस्जिद, जहाँपनाह जहाँपनाह नगर वर्तमान दिल्ली के निकट तुग़लक कालीन एक ऐतिहासिक ध्वस्त नगर है। मुहम्मद तुग़लक़ ने 1350 ई. के लगभग इस शहर की बुनियाद डाली थी। जहाँपनाह को दिल्ली के सात नगरों में से चौथा नगर कहा जाता है। जहाँपनाह की सीमा पिथौरागढ़ और सीरी[1] दोनों के परकोटों को मिलाकर बनाई गई थी।

  • इसके अंदर का एक सुंदर प्रासाद बनवाया गया, जिसे बदी-ए-मंजिल[2] कहा जाता था।
  • जहाँपनाह का दूसरा नाम विजय-मंडल था। जहाँपनाह "विजय मंडल" के नाम से आज भी प्रसिद्ध है। इस नगर के भीतर चिराग़ दिल्ली, बेगमपुरी मस्जिद आदि भवन स्थित थे।
  • जहाँपनाह में तीस प्रवेश द्वार थे।

वीथिका


टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. अलाउद्दीन ख़िलज़ी की दिल्ली
  2. आनन्द-भवन

बाहरी कड़ियाँ

संबंधित लेख