User:गोविन्द राम/sandbox2: Difference between revisions
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*[[ | *हमारा राष्ट्रीय ध्वज तीन [[रंग|रंगों]] से बना है इसलिए हम इसे तिरंगा भी कहते हैं। तिरंगे में सबसे ऊपर गहरा केसरिया, बीच में [[सफ़ेद रंग|सफ़ेद]] और सबसे नीचे गहरा [[हरा रंग]] बराबर अनुपात में है। | ||
* | *केसरिया यानी भगवा रंग वैराग्य का रंग है। हमारे आज़ादी के दीवानों ने इस रंग को सबसे पहले अपने ध्वज में इसलिए सम्मिलित किया जिससे आने वाले दिनों में देश के नेता अपना लाभ छोड़ कर देश के विकास में खुद को समर्पित कर दें। जैसे भक्ति में साधु वैराग ले मोह माया से हट भक्ति का मार्ग अपनाते हैं। | ||
* | *श्वेत रंग [[प्रकाश]] और शांति के प्रतीक के रूप में लिया गया। | ||
* | *हरा रंग प्रकृति से संबंध और संपन्नता दर्शाता है | ||
* | *केंद्र में स्थित अशोक चक्र धर्म के 24 नियमों की याद दिलाता है। | ||
*पूर्वी राजस्थान में '''दो बाघ अभयारण्य, [[रणथम्भौर]] एवं [[सरिस्का अलवर|सरिस्का]]''' हैं और [[भरतपुर]] के समीप केवलादेव राष्ट्रीय उद्यान है, जो पक्षियों की रक्षार्थ निर्मित किया गया है। '''[[राजस्थान|.... और पढ़ें]]''' |
Revision as of 12:39, 14 August 2011
- हमारा राष्ट्रीय ध्वज तीन रंगों से बना है इसलिए हम इसे तिरंगा भी कहते हैं। तिरंगे में सबसे ऊपर गहरा केसरिया, बीच में सफ़ेद और सबसे नीचे गहरा हरा रंग बराबर अनुपात में है।
- केसरिया यानी भगवा रंग वैराग्य का रंग है। हमारे आज़ादी के दीवानों ने इस रंग को सबसे पहले अपने ध्वज में इसलिए सम्मिलित किया जिससे आने वाले दिनों में देश के नेता अपना लाभ छोड़ कर देश के विकास में खुद को समर्पित कर दें। जैसे भक्ति में साधु वैराग ले मोह माया से हट भक्ति का मार्ग अपनाते हैं।
- श्वेत रंग प्रकाश और शांति के प्रतीक के रूप में लिया गया।
- हरा रंग प्रकृति से संबंध और संपन्नता दर्शाता है
- केंद्र में स्थित अशोक चक्र धर्म के 24 नियमों की याद दिलाता है।
- पूर्वी राजस्थान में दो बाघ अभयारण्य, रणथम्भौर एवं सरिस्का हैं और भरतपुर के समीप केवलादेव राष्ट्रीय उद्यान है, जो पक्षियों की रक्षार्थ निर्मित किया गया है। .... और पढ़ें