वोट -शिवदीन राम जोशी: Difference between revisions

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वोट-वोट में खोट है खोट-खोट में वोट
==शीर्षक उदाहरण 1==
दो नम्बर का काम है छप रहे अगनित नोट।
 
छप रहे अगनित नोट सोट हाथों में लेकर,
===शीर्षक उदाहरण 2===
आते है कई लोग वोट बातों में देकर।
 
राजनीति की चाल है चाल-चाल में चाल,
====शीर्षक उदाहरण 3====
शिवदीन देख क्या हो रहा भारत का बेहाल।
 
                                  राम गुन गायरे।।
=====शीर्षक उदाहरण 4=====
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वोट-वोट में खोट है खोट-खोट में वोट,
दो नम्बर का काम है छप रहे अगनित नोट ।
छप रहे अगनित नोट सोट हाथों में लेकर,
आते है कई लोग वोट बातों में देकर ।
राजनीति की चाल है चाल-चाल में चाल,
शिवदीन देख क्या हो रहा भारत का बेहाल ।
                    राम गुन गायरे ।।
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कहीं वोट घबराय दें कहीं-कहीं नंगा नांच,
कहीं वोट घबराय दें कहीं-कहीं नंगा नांच,
कहीं वार्ड से एक दो कहीं खडे हैं पांच ।
कहीं वार्ड से एक दो कहीं खडे हैं पांच।
कहीं खडे हैं पांच सांच शरमागई भाई,
कहीं खडे हैं पांच सांच शरमागई भाई,
कहीं डालते वोट झगड कर लोग लुगाई ।
कहीं डालते वोट झगड कर लोग लुगाई।
बाप अलग बेटा अलग अलग भ्रात की रीत,
बाप अलग बेटा अलग अलग भ्रात की रीत,
शिवदीन अचंभा देख रे कौन किसी का मीत ।
शिवदीन अचंभा देख रे कौन किसी का मीत।
                  राम गुन गायरे ।।
                                  राम गुन गायरे।।
   
   
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==टीका टिप्पणी और संदर्भ==
<references/>
 
==बाहरी कड़ियाँ==
 
==संबंधित लेख==
==संबंधित लेख==
 
{{समकालीन कवि}}
[[Category:नया पन्ना 18 मार्च-2012]]
[[Category:कविता]][[Category:हिन्दी कविता]][[Category:काव्य कोश]][[Category:पद्य साहित्य]][[Category:साहित्य कोश]]
 
[[Category:समकालीन साहित्य]]
[[Category:शिवदीन राम जोशी]]
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__NOTOC__
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Latest revision as of 14:51, 30 March 2012

वोट-वोट में खोट है खोट-खोट में वोट
दो नम्बर का काम है छप रहे अगनित नोट।
छप रहे अगनित नोट सोट हाथों में लेकर,
आते है कई लोग वोट बातों में देकर।
राजनीति की चाल है चाल-चाल में चाल,
शिवदीन देख क्या हो रहा भारत का बेहाल।
                                   राम गुन गायरे।।


कहीं वोट घबराय दें कहीं-कहीं नंगा नांच,
कहीं वार्ड से एक दो कहीं खडे हैं पांच।
कहीं खडे हैं पांच सांच शरमागई भाई,
कहीं डालते वोट झगड कर लोग लुगाई।
बाप अलग बेटा अलग अलग भ्रात की रीत,
शिवदीन अचंभा देख रे कौन किसी का मीत।
                                   राम गुन गायरे।।
 


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