सुजानपुर टिहरा: Difference between revisions

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#सन 1790 में बना हुआ मुरली मनोहर मंदिर।
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सुजानपुर टिहरा की स्थापना कांगड़ा रियासत के कटोच वंशज राजा अभय चंद द्वारा सन 1748 ई. में की गई थी। सुजानपुर बहुत ही सुंदर एतिहासिक स्थान है।

  • व्यास नदी के बाएँ किनारे पर स्थित सुजानपुर टिहरा ऐतिहासिक एवं दर्शनीय शहर है। यह शहर कटोच राजघराने के स्वर्णिम काल का गवाह रहा है।
  • सुजानपुर टिहरा, हमीरपुर से 24 किलोमीटर की दूरी पर हमीरपुर पालमपुर मार्ग पर बसा हुआ है। यहाँ पर उप मंडल अधिकारी (नागरिक), तहसील एवं विकास खण्ड मुख्यालय हैं।[1]
  • यहाँ पर वर्ष भर कभी भी आसानी से जाया जा सकता है। वर्षा का समय यहाँ बहुत ही सुहावना होता है।
  • यहाँ के दर्शनीय स्थलों में शामिल हैं-
  1. शहर से 4 किलोमीटर की दूरी पर स्थित ऐतिहासिक कटोच वंशज राजाओं की क़िला।
  2. शहर के बीचों बीच स्थित ऐतिहासिक चौगान (मैदान) जो संभवतः पहाड़ी क्षेत्रों में सबसे बड़े आकार का मैदान है।
  3. शहर में स्थित, सन 1823 ई. में बनाया गया नर्वदेश्वर महादेव मंदिर।
  4. 4 किलोमीटर की दूरी पर सुजानपुर क़िले में स्थित गौरी-शंकर मंदिर।
  5. सन 1790 में बना हुआ मुरली मनोहर मंदिर।
  6. सुप्रसिद्ध सैनिक स्कूल
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टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. सुजानपुर टिहरा (हिंदी) hphamirpur.nic.in। अभिगमन तिथि: 22 जुलाई, 2020।

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