कच्चा माल

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
Revision as of 12:33, 21 February 2014 by रविन्द्र प्रसाद (talk | contribs) (''''कच्चा माल''' से तात्पर्य है कि कारखानों में काम आने व...' के साथ नया पन्ना बनाया)
(diff) ← Older revision | Latest revision (diff) | Newer revision → (diff)
Jump to navigation Jump to search

कच्चा माल से तात्पर्य है कि कारखानों में काम आने वाले वे खनिज या वानस्पतिक पदार्थ, जो अपने आरंभिक या प्राकृतिक रूप में हों और जिन्हें मशीनों द्वारा ठीक करके या बनाकर उनसे दूसरी वस्तुएँ बनाई जाती हैं।

  • दूसरे शब्दों में कच्चा माल उन मूल द्रव्यों को कहते हैं, जिनका उपयोग विधि शिल्पों में उत्पादन कार्य के लिए किया जाता है। जैसे-
  1. चीनी मिल के लिए गन्ना
  2. वस्त्र उद्योग के लिए रुई
  3. काग़ज़ बनाने के लिए बाँस
  4. ईख की छोई
  5. सन और लोहे के कारखानों के लिए कच्चा लोहा
  • औद्योगिक दृष्टि से यूरोप के विकसित पूँजीवादी देशों को कच्चे माल की आवश्यकता पड़ी तो उन्होंने संसार के अन्य महाद्वीपों में अपने अनेक उपनिवेश स्थापित किए और वहाँ के कच्चे माल से विविध वस्तुएँ तैयार करके उन्हें पुन: उन्हीं के देशों में खपाया तथा अकल्पित लाभ प्राप्त किया।[1]


  1. REDIRECTसाँचा:इन्हें भी देखें


पन्ने की प्रगति अवस्था
आधार
प्रारम्भिक
माध्यमिक
पूर्णता
शोध

टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. कच्चा माल (हिन्दी)। । अभिगमन तिथि: 21 फ़रवरी, 2014।

संबंधित लेख

वर्णमाला क्रमानुसार लेख खोज

                              अं                                                                                                       क्ष    त्र    ज्ञ             श्र   अः