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  • ...]] था। इस सम्बंध में प्रोफेसर महावीर सरन जैन की मान्यता भिन्न है। प्रोफेसर जैन ने मागधी प्राकृत एवं अर्ध-मागधी में अन्तर किया है। उनके मतानुसार मागधी मगध ...में दोनों की विशेषताएँ पायी जाती हैं। [[अर्ध मागधी|अर्द्ध-मागधी]] का महत्व जैन साहित्य के कारण अधिक है। अर्ध-मागधी में ‘र्’ एवं ‘ल्’ दोनों का प्रयोग होता ...
    8 KB (31 words) - 07:40, 7 November 2017
  • |चित्र का नाम= महावीर |अन्य नाम = महावीर स्वामी जन्म कल्याणक ...
    18 KB (186 words) - 05:18, 29 March 2018
  • |चित्र का नाम=महावीर |पूरा नाम=महावीर स्वामी ...
    24 KB (197 words) - 05:07, 18 March 2020
  • ...-european-family भारोपीय परिवार की भारतीय आर्य भाषाएँ -प्रोफेसर महावीर सरन जैन] ...
    7 KB (45 words) - 07:47, 7 November 2017
  • *[[हिन्दू धर्म|हिन्दू]], [[बौद्ध]], [[जैन]] आदि [[धर्म|धर्मों]] के प्राचीन धार्मिक ग्रन्थ संस्कृत में ही हैं। *हिन्दुओं, [[बौद्ध|बौद्धों]] और [[जैन|जैनों]] के नाम भी संस्कृत भाषा पर आधारित होते हैं। ...
    19 KB (98 words) - 08:29, 7 October 2017
  • ...का अप्राप्य साहित्य खोजा। इसमें 30 नई कहानियाँ मिलीं। प्रोफेसर महावीर सरन जैन ने प्रेमचन्द के कथा-साहित्य के भाषिक स्वरूप का विश्लेषण किया।<ref name="pre ...
    10 KB (60 words) - 09:50, 4 February 2021
  • ...िधि या कर्तव्य), [[पालि भाषा|पालि]] शब्द, धम्म। [[हिन्दू]], [[बौद्ध]] और [[जैन धर्म]] में बहुअर्थी मूल अवधारणा। आज धर्म के जिस रूप को प्रचारित एवं व्याख्य ...|accessmonthday=6 अगस्त |accessyear=2013 |last=जैन |first=प्रोफेसर महावीर सरन |authorlink= |format= |publisher=वेबदुनिया हिंदी |language=हिंदी}}</ref><br ...
    40 KB (217 words) - 09:21, 11 February 2021
  • ...रहे। भवानी प्रसाद मिश्र की कविताओं की समीक्षा करते हुए प्रोफेसर महावीर सरन जैन का कथन है कि, "हिन्दी की नई कविता पर सबसे बड़ा आक्षेप यह है कि उसमें अतिरिक ...हिंसा एवं प्रेम की त्रिवेणी प्रवाहित होती है। (देखें – प्रोफेसर महावीर सरन जैन : गाँधी दर्शन की प्रासंगिकता)। भवानी प्रसाद मिश्र की कविताएँ इसी कारण समाज ...
    23 KB (198 words) - 05:22, 29 March 2018
  • |चित्र का नाम=जैन धर्म का प्रतीक चिह्न |विवरण=जैन धर्म अर्थात् 'जिन' भगवान का धर्म। 'जैन धर्म' [[भारत]] की श्रमण परम्परा से निकला [[धर्म]] और [[दर्शन]] है। ...
    53 KB (542 words) - 07:59, 7 November 2017
  • *[http://www.rachanakar.org/2013/04/blog-post_3823.htm प्रोफेसर महावीर सरन जैन का आलेख - भगवान शिव एवं शैव दर्शन] ...
    16 KB (41 words) - 10:55, 9 February 2021
  • ...िश्वात्मा और व्यक्तिगत आत्मा दोनों अर्थों में होता है। प्रोफेसर महावीर सरन जैन का मत है कि आत्मा एवं परमात्मा का भेद भाषिक है। यह भेद तात्विक नहीं है। [[उ ...
    16 KB (94 words) - 12:39, 20 April 2018
  • | प्रोफेसर महावीर सरन जैन ...
    20 KB (86 words) - 09:52, 4 February 2021
  • *[http://www.scribd.com/doc/133662684/Lord-Shiva-and-Shai प्रोफेसर महावीर सरन जैन - भगवान शिव एवं शैव दर्शन] ...
    24 KB (368 words) - 07:38, 7 November 2017
  • ...o=1 |title=प्रेमचंद के पत्र |accessmonthday=22 मार्च|accessyear=2013 |last=जैन |first=प्रदीप |authorlink= |format= |publisher=हिंदी समय |language=हिंदी }} ...ww.rachanakar.org/2013/08/blog-post.html#ixzz2ah5zQUW6 प्रोफेसर महावीर सरन जैन का आलेख- प्रेमचन्द का कथा-साहित्यः भावगत और भाषिक प्रदेय] ...
    28 KB (270 words) - 05:24, 31 July 2018
  • ...िर ग्रेनाइट (कणाष्म) से निर्मित हैं। '''ये मंदिर [[शैव]], [[वैष्णव]] तथा [[जैन]] संप्रदायों से सम्बंधित हैं।''' खजुराहो के मंदिरों का भूविन्यास तथा ऊर्ध्व ...ा]] का, एक रहस्यमय योगिनियों (देवियों) का और पाँच मन्दिर [[दिगम्बर|दिगम्बर जैन सम्प्रदाय]] के तीर्थकारों के हैं। खजुराहो के मन्दिर में तीन बड़े शिलालेख है ...
    71 KB (474 words) - 10:54, 9 February 2021
  • ...वाले भाषा-रूप को 'भाखा' नाम से पुकराते थे, 'हिन्दी' नाम से नहीं। प्रोफेसर जैन का मानना है कि हिन्दी भाषा-क्षेत्र में बोले जाने वाले समस्त क्षेत्रगत, वर्ग ...
    55 KB (225 words) - 07:41, 7 November 2017
  • ...के काव्य/ में निहित मानवीय दृष्टि एवं सामाजिक चेतना - प्रोफेसर महावीर सरन जैन] ...
    42 KB (388 words) - 08:20, 10 February 2021
  • ...t_15.html वसंत पंचमी का पर्व और विद्या की अधिष्ठात्री: प्रोफेसर महावीर सरन जैन का आलेख] ...
    46 KB (169 words) - 07:55, 7 November 2017