विल्हण

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
Jump to navigation Jump to search

विल्हण कल्याणी के चालुक्य वंशीय शासक विक्रमादित्य षष्ठ (1070-1126) की राजसभा में थे। उनकी सुप्रसिद्ध रचना 'विक्रमांकदेवचरित' है।

  • विल्हण ने 'विक्रमांकदेवचरित' में अपने आश्रयदाता सम्राट का जीवन चरित अत्यंत सरस ढंग से प्रस्तुत किया है। उनका विवरण पूर्णत: इतिहास संगत है।
  • 'विक्रमांकदेवचरित' की भाषा प्राञ्जल तथा स्पष्ट है एवं शैली वैदर्भी है।
  • उच्च कोटि की विलक्षण कल्पना शक्ति विल्हण में थी तथा उसी के अनुरूप उन्होंनें वर्णन प्रस्तुत किया है।
  • विक्रमादित्य षष्ठ के राजकवि विल्हण ने अपने 'विक्रमांकदेवचरित' में कल्याणी की प्रशंसा के गीत गाए हैं और उसे संसार की सर्वश्रेष्ठ नगरी बताया है।
  • कुलोत्तुंग प्रथम के द्वारा विक्रमादित्य षष्ठ को पराजय का सामना करना पड़ा था, इसका उल्लेख भी विल्हण के 'विक्रमांकदेवचरित' से मिलता है।


पन्ने की प्रगति अवस्था
आधार
प्रारम्भिक
माध्यमिक
पूर्णता
शोध

टीका टिप्पणी और संदर्भ

संबंधित लेख

वर्णमाला क्रमानुसार लेख खोज

                              अं                                                                                                       क्ष    त्र    ज्ञ             श्र   अः