आलमी तब्लीग़ी इजतिमा: Difference between revisions
Jump to navigation
Jump to search
[unchecked revision] | [unchecked revision] |
No edit summary |
No edit summary |
||
Line 3: | Line 3: | ||
*इजतिमा हर [[वर्ष]] आयोजित किया जाता है और उसके साथ ही एक मेला भी लगता है। | *इजतिमा हर [[वर्ष]] आयोजित किया जाता है और उसके साथ ही एक मेला भी लगता है। | ||
*इस इजतिमा के दौरान पूरे शहर में आध्यात्मिकता की लहर उमड़ती है और दुनिया भर के मुस्लिमों के ‘जामात'<ref>श्रद्धालुओं के समूह</ref> यहाँ आ पहुंचते हैं। | *इस इजतिमा के दौरान पूरे शहर में आध्यात्मिकता की लहर उमड़ती है और दुनिया भर के मुस्लिमों के ‘जामात'<ref>श्रद्धालुओं के समूह</ref> यहाँ आ पहुंचते हैं। | ||
*[[रूस]], [[कज़ाकिस्तान]], [[फ़्रांस]], इंडोनेशिया, [[मलेशिया]], जाम्बिया, [[दक्षिण अफ़्रीका]], [[केन्या]], इराक, सऊदी अरब, यमन, इथियोपिया, सोमालिया, तुर्की, [[थाईलैंड]] और [[श्रीलंका]] जैसे देशों के 'जामाती' तीन दिनों के शिविर के लिए यहाँ आते है और अच्छे मूल्यों का पालन करते हुए ईमानदार जीवन जीने के लिए इस्लामी विद्वानों की पवित्र उपदेश सुनते हैं। | *[[रूस]], [[कज़ाकिस्तान]], [[फ़्रांस]], इंडोनेशिया, [[मलेशिया]], जाम्बिया, [[दक्षिण अफ़्रीका]], [[केन्या]], इराक, सऊदी अरब, यमन, इथियोपिया, [[सोमालिया]], तुर्की, [[थाईलैंड]] और [[श्रीलंका]] जैसे देशों के 'जामाती' तीन दिनों के शिविर के लिए यहाँ आते है और अच्छे मूल्यों का पालन करते हुए ईमानदार जीवन जीने के लिए इस्लामी विद्वानों की पवित्र उपदेश सुनते हैं। | ||
*बुद्धिजीवियों, छात्रों, व्यापारियों, किसानों आदि के लिए सार्वभौमिक भाईचारे का संदेश देने वाले विशेष धार्मिक प्रवचन भी यहाँ होते हैं। | *बुद्धिजीवियों, छात्रों, व्यापारियों, किसानों आदि के लिए सार्वभौमिक भाईचारे का संदेश देने वाले विशेष धार्मिक प्रवचन भी यहाँ होते हैं। | ||
*आध्यात्मिक संदेश देने वाली यह सभा धार्मिक सभाओं में से एक मानी जाती है। | *आध्यात्मिक संदेश देने वाली यह सभा धार्मिक सभाओं में से एक मानी जाती है। |
Latest revision as of 13:01, 3 February 2015
आलमी तब्लीग़ी इजतिमा आध्यात्मिक संदेश देने वाली एक तीन दिवसीय सभा है, जो दुनिया की सबसे बड़ी धार्मिक सभाओं में से एक मानी जाती है। मध्य प्रदेश के भोपाल शहर में इसे सबसे महत्वपूर्ण धार्मिक अवसर के रूप में मनाया जाता है। 'आलमी तब्लीग़ी इजतिमा' न सिर्फ़ मुस्लिमों के लिए बल्की सभी समुदायों के लिए यथार्थ मानी जाती है।
- इजतिमा हर वर्ष आयोजित किया जाता है और उसके साथ ही एक मेला भी लगता है।
- इस इजतिमा के दौरान पूरे शहर में आध्यात्मिकता की लहर उमड़ती है और दुनिया भर के मुस्लिमों के ‘जामात'[1] यहाँ आ पहुंचते हैं।
- रूस, कज़ाकिस्तान, फ़्रांस, इंडोनेशिया, मलेशिया, जाम्बिया, दक्षिण अफ़्रीका, केन्या, इराक, सऊदी अरब, यमन, इथियोपिया, सोमालिया, तुर्की, थाईलैंड और श्रीलंका जैसे देशों के 'जामाती' तीन दिनों के शिविर के लिए यहाँ आते है और अच्छे मूल्यों का पालन करते हुए ईमानदार जीवन जीने के लिए इस्लामी विद्वानों की पवित्र उपदेश सुनते हैं।
- बुद्धिजीवियों, छात्रों, व्यापारियों, किसानों आदि के लिए सार्वभौमिक भाईचारे का संदेश देने वाले विशेष धार्मिक प्रवचन भी यहाँ होते हैं।
- आध्यात्मिक संदेश देने वाली यह सभा धार्मिक सभाओं में से एक मानी जाती है।
|
|
|
|
|
टीका टिप्पणी और संदर्भ
- ↑ श्रद्धालुओं के समूह