लॉर्ड लिटन द्वितीय: Difference between revisions
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Revision as of 10:44, 13 March 2011
लॉर्ड लिटन द्वितीय का पूरा नाम विक्टर अलेक्ज़ेंडर जॉर्ज रॉबर्ट बुलवेर था, जिनका जन्म-9 अगस्त, 1876 ई. को शिमला, भारत में हुआ था तथा मृत्यु-26 अक्टूबर, 1947 ई. को नेबवर्थ, हर्टफ़ोर्डशायर, इंग्लैण्ड में हुई। ये बंगाल के ब्रिटिश गवर्नर (1922-27 ई.) और मंचूरिया थे, जिन्होंने तथाकथित लिटन रिपोर्ट (1932 ई.) तैयार की थी।
पिता की उपाधि
जब इनके पिता प्रथम अर्ल भारत के वाइसराय थे; बुलवेर लिटन वहीं पर पैदा हुए और अभी वह स्कूली विद्यार्थी ही थे कि, उन्हें विरासत में अपने पिता की उपाधि मिल गई। उन्होंने ईटन और ट्रिनिटी कॉलेज, कैंब्रिज में शिक्षा पाई और प्रथम विश्वयुद्ध के दौरान नौसेना विभाग में पहली सरकारी नौकरी हासिल की। 1920 ई. में वह भारत कार्यालय के संसदीय उपमंत्री बने। अगले कुछ वर्षों के दौरान जब वाइसराय छुट्टी पर जाते थे, तो वह वाइसराय का कार्यभार भी सम्भालते थे।
1932 में मंचूरिया के लिए उनके लीग ऑफ़ नेशन्स मिशन की अत्यधिक सराहना हुई। लेकिन जापान के विरुद्ध वह कारगर प्रतिबन्ध नहीं लगा पाए। इसके बाद लिटन ने कई निकायों की अध्यक्षता की, लेकिन कोई भी निकाय बहुत महत्त्वपूर्ण नहीं थी। वह 1945 ई. में सेवानिवृत्त हो गए।
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टीका टिप्पणी और संदर्भ
(पुस्तक 'भारत ज्ञानकोश') पृष्ठ संख्या-160