ऊँचडीह: Difference between revisions

भारत डिस्कवरी प्रस्तुति
Jump to navigation Jump to search
[unchecked revision][unchecked revision]
No edit summary
No edit summary
 
(8 intermediate revisions by 4 users not shown)
Line 5: Line 5:
|राज्य=[[उत्तर प्रदेश]]
|राज्य=[[उत्तर प्रदेश]]
|केन्द्र शासित प्रदेश=
|केन्द्र शासित प्रदेश=
|ज़िला=[[प्रतापगढ़ ज़िला]]
|ज़िला=[[इलाहाबाद]]
|निर्माता=
|निर्माता=
|स्वामित्व=
|स्वामित्व=
Line 12: Line 12:
|स्थापना=
|स्थापना=
|भौगोलिक स्थिति=
|भौगोलिक स्थिति=
|मार्ग स्थिति=[[इलाहाबाद]] जंक्शन से लगभग 40 किमी की दूरी पर स्थित है।
|मार्ग स्थिति=[[इलाहाबाद]] जंक्शन से लगभग 40 कि.मी. की दूरी पर स्थित है।
|मौसम=
|मौसम=
|तापमान=
|तापमान=
Line 35: Line 35:
|शीर्षक 2=
|शीर्षक 2=
|पाठ 2=
|पाठ 2=
|अन्य जानकारी=
|अन्य जानकारी=यह गाँव ऊँचे और प्राचीन टीलो के लिए जाना जाता है 
|बाहरी कड़ियाँ=
|बाहरी कड़ियाँ=
|अद्यतन={{अद्यतन|18:12, 6 जून  2012 (IST)}}
|अद्यतन={{अद्यतन|18:12, 6 जून  2012 (IST)}}
}}
}}
[[चित्र:Unchdeeh2.jpg|250px|thumb|right|ऊँचडीह के भग्नावशेष]]
'''ऊँचडीह''' तीर्थराज [[प्रयाग]] से लगभग 40 किमी दूरी पर उत्तर दिशा मे [[प्रतापगढ़ ज़िला|प्रतापगढ़]] [[इलाहाबाद]] के जनपदीय सीमा पर स्थित एक [[ऐतिहासिक स्थान]] है, जो [[महाभारत]] कालीन बाबा [[भयहरणनाथ धाम]] के समीप है।  
'''ऊँचडीह''',तीर्थराज [[प्रयाग]] से लगभग 40 किमी दूरी पर उत्तर दिशा मे [[प्रतापगढ़ ज़िला|प्रतापगढ़]] [[इलाहाबाद]] के जनपदीय सीमा पर स्थित एक [[ऐतिहासिक स्थान]] है,जो [[महाभारत]] कालीन बाबा [[भयहरणनाथ धाम]] के समीप है।
* ऊँचडीह गाँव में पुरातात्विक महत्व के कई [[अवशेष]] पाए गए है, भग्न मूर्तियाँ, पत्थरों पर बनी प्राचीन कलाकृतियाँ तथा शिलाखंड प्रमुख है।
* यहाँ के प्राप्त अवशेष [[महाभारत |महाभारत कालीन]] व [[बौद्ध|बौद्धकालीन]] प्रतीत होते है। प्राप्त अवशेष भग्न अवस्था में है।
* पौराणिक व ग्रामवासियों के मान्यताओं के अनुसार, ऊँचडीह राक्षस [[बकासुर]] का एक निवास क्षेत्र था और बकासुर का वध महाबली [[भीम]] द्वारा [[भयहरणनाथ धाम|भयहरणनाथ]] के निकट [[ऊँचडीह]] में हुआ था।


ऊँचडीह गाँव में पुरातात्विक महत्व के कई [[अवशेष]] पाए गए है,भग्न मुर्तियाँ,पत्थरो पर बनी प्राचीन कालाकृतियाँ तथा शिलाखंड प्रमुख है।
*[[प्रतापगढ़ ज़िला|प्रतापगढ़]] जिले बौद्धकालीन [[सूर्य मंदिर प्रतापगढ़|सूर्य मंदिर]] व तीर्थ [[भयहरणनाथ धाम|भयहरणनाथ मंदिर]] ऊँचडीह गाँव के निकट स्थित है।




यहाँ के प्राप्त अवशेष [[महाभारत]] कालीन व [[बौद्ध]] कालीन प्रतीत होते है।प्राप्त अवशेष भग्न अवस्था मे है।


पौराणिक व ग्रामवासियो के मान्यताओ के अनुसार,ऊँचडीह राक्षस [[बकासुर]] का एक निवास क्षेत्र था और बकासुर का वध महाबली [[भीम]] द्वारा [[भयहरणनाथ धाम|भयहरणनाथ]] के निकट [[ऊँचडीह]] मे हुआ था।[[प्रतापगढ़ ज़िला|प्रतापगढ़]] जिले बौद्धकालीन [[सूर्य मंदिर प्रतापगढ़|सूर्य मंदिर]] व तीर्थ [[भयहरणनाथ धाम|भयहरणनाथ मंदिर]] ऊँचडीह गाँव के निकट स्थित है।
{{लेख प्रगति|आधार=|प्रारम्भिक=प्रारम्भिक1 |माध्यमिक= |पूर्णता= |शोध= }}
==चित्र वीथिका==
<gallery>
चित्र:Unchdeeh1.jpg|ऊँचडीह के भग्नावशेष
चित्र:Unchdeeh2.jpg|ऊँचडीह के भग्नावशेष
</gallery>


<!-- कृपया इस संदेश से ऊपर की ओर ही सम्पादन कार्य करें। ऊपर आप अपनी इच्छानुसार शीर्षक और सामग्री डाल सकते हैं -->
<!-- यदि आप सम्पादन में नये हैं तो कृपया इस संदेश से नीचे सम्पादन कार्य न करें -->
{{लेख प्रगति|आधार=आधार1|प्रारम्भिक= |माध्यमिक= |पूर्णता= |शोध= }}
==टीका टिप्पणी और संदर्भ==
==टीका टिप्पणी और संदर्भ==
<references/>
<references/>


==बाहरी कड़ियाँ==
==बाहरी कड़ियाँ==
==संबंधित लेख==
==संबंधित लेख==
{{उत्तर प्रदेश के ऐतिहासिक स्थान}}
{{उत्तर प्रदेश के ऐतिहासिक स्थान}}
Line 68: Line 65:


__INDEX__
__INDEX__
__NOTOC__

Latest revision as of 10:14, 17 May 2018

ऊँचडीह
विवरण ऊँचडीह एक ऐतिहासिक स्थल है, जहाँ पर प्राचीन अवशेष मिले हैं।
राज्य उत्तर प्रदेश
ज़िला इलाहाबाद
मार्ग स्थिति इलाहाबाद जंक्शन से लगभग 40 कि.मी. की दूरी पर स्थित है।
संबंधित लेख भयहरणनाथ धाम भाषा हिंदी, अंग्रेजी
अन्य जानकारी यह गाँव ऊँचे और प्राचीन टीलो के लिए जाना जाता है
अद्यतन‎

ऊँचडीह तीर्थराज प्रयाग से लगभग 40 किमी दूरी पर उत्तर दिशा मे प्रतापगढ़ इलाहाबाद के जनपदीय सीमा पर स्थित एक ऐतिहासिक स्थान है, जो महाभारत कालीन बाबा भयहरणनाथ धाम के समीप है।

  • ऊँचडीह गाँव में पुरातात्विक महत्व के कई अवशेष पाए गए है, भग्न मूर्तियाँ, पत्थरों पर बनी प्राचीन कलाकृतियाँ तथा शिलाखंड प्रमुख है।
  • यहाँ के प्राप्त अवशेष महाभारत कालीनबौद्धकालीन प्रतीत होते है। प्राप्त अवशेष भग्न अवस्था में है।
  • पौराणिक व ग्रामवासियों के मान्यताओं के अनुसार, ऊँचडीह राक्षस बकासुर का एक निवास क्षेत्र था और बकासुर का वध महाबली भीम द्वारा भयहरणनाथ के निकट ऊँचडीह में हुआ था।



पन्ने की प्रगति अवस्था
आधार
प्रारम्भिक
माध्यमिक
पूर्णता
शोध

चित्र वीथिका

टीका टिप्पणी और संदर्भ


बाहरी कड़ियाँ

संबंधित लेख