अलीगढ़: Difference between revisions
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*अलीगढ़ प्राचीन नाम कोइल या कोल भी कहलाता है। अलीगढ़ शहर, उत्तरी [[भारत]] के उत्तर-मध्य [[उत्तर प्रदेश]] राज्य में है। यह [[दिल्ली]] के दक्षिण-पूर्व में स्थित है। इसके पास ही अलीगढ़ नाम का एक क़िला है। | *अलीगढ़ प्राचीन नाम कोइल या कोल भी कहलाता है। अलीगढ़ शहर, उत्तरी [[भारत]] के उत्तर-मध्य [[उत्तर प्रदेश]] राज्य में है। यह [[दिल्ली]] के दक्षिण-पूर्व में स्थित है। इसके पास ही अलीगढ़ नाम का एक क़िला है। | ||
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*उसके फ़्रांसीसी सेनापति पेरन का क़िला आज भी खण्डहरों के रूप में नगर से तीन मील दूर है। | *उसके फ़्रांसीसी सेनापति पेरन का क़िला आज भी खण्डहरों के रूप में नगर से तीन मील दूर है। | ||
*इसे 1802 ई. में | *इसे 1802 ई. में लॉर्ड लेक ने जीता था। | ||
*यह क़िला पहले रामगढ़ कहलाता था | *यह क़िला पहले रामगढ़ कहलाता था | ||
==इतिहास== | ==इतिहास== | ||
उत्तर प्रदेश का एक शहर जिसका आधुनिक भारतीय इतिहास में महत्त्वपूर्ण योग है। अलीगढ़ में एक मज़बूत क़िला था। जिसे दूसरे आंग्ल-मराठा युद्ध में अंग्रेज़ों नें 1803 ई. में मराठों से छीन लिया और इससे [[दिल्ली]] को जीतने में उन्हें बड़ी मदद मिली। | उत्तर प्रदेश का एक शहर जिसका आधुनिक भारतीय इतिहास में महत्त्वपूर्ण योग है। अलीगढ़ में एक मज़बूत क़िला था। जिसे दूसरे आंग्ल-मराठा युद्ध में अंग्रेज़ों नें 1803 ई. में मराठों से छीन लिया और इससे [[दिल्ली]] को जीतने में उन्हें बड़ी मदद मिली। सन् 1857 के सिपाही-विद्रोह का यह मुख्य केंद्र रहा। नगर में मुसलमानों की आबादी अधिक है। | ||
[[चित्र:Tomb-Of-Sir-Syed-Ahmed-Khan.jpg|thumb|250px|left|[[सर सैयद अहमद ख़ाँ]] की क़ब्र, अलीगढ़ <br /> Tomb Of Sir Syed Ahmed Khan, Aligarh]] | [[चित्र:Tomb-Of-Sir-Syed-Ahmed-Khan.jpg|thumb|250px|left|[[सर सैयद अहमद ख़ाँ]] की क़ब्र, अलीगढ़ <br /> Tomb Of Sir Syed Ahmed Khan, Aligarh]] | ||
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अलीगढ़ कॉलेज के संस्थापकों और वहाँ से निकले छात्रों के राष्ट्रीयता-विरोधी रवैये से अलीगढ़ प्रतिक्रियावादियों का गढ़ समझा जाने लगा। 1906 ई. में अलीगढ़ के कुछ स्नातकों ने मुसलमानों की आकांक्षाओं को व्यक्त करने के लिए [[मुस्लिम लीग]] की स्थापना की। कुछ वर्षों तक मुस्लिम लीग ने भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के साथ मिलकर [[भारत]] के लिए, शासन-सुधार की माँग की, लेकिन अन्त में, वह घोर साम्प्रदायिक संस्था बन गयी और [[पाकिस्तान]] की माँग की। 1946 में उसी माँग के आधार पर [[भारत]] का विभाजन हो गया। | अलीगढ़ कॉलेज के संस्थापकों और वहाँ से निकले छात्रों के राष्ट्रीयता-विरोधी रवैये से अलीगढ़ प्रतिक्रियावादियों का गढ़ समझा जाने लगा। 1906 ई. में अलीगढ़ के कुछ स्नातकों ने मुसलमानों की आकांक्षाओं को व्यक्त करने के लिए [[मुस्लिम लीग]] की स्थापना की। कुछ वर्षों तक मुस्लिम लीग ने भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के साथ मिलकर [[भारत]] के लिए, शासन-सुधार की माँग की, लेकिन अन्त में, वह घोर साम्प्रदायिक संस्था बन गयी और [[पाकिस्तान]] की माँग की। 1946 में उसी माँग के आधार पर [[भारत]] का विभाजन हो गया। | ||
==कृषि== | ==कृषि== | ||
अलीगढ़ एक कृषि व्यापार केंद्र है, जहाँ कृषि उत्पादों का प्रसंस्करण और विनिर्माण महत्त्वपूर्ण हैं। इसके आसपास के क्षेत्रों में | अलीगढ़ एक कृषि व्यापार केंद्र है, जहाँ कृषि उत्पादों का प्रसंस्करण और विनिर्माण महत्त्वपूर्ण हैं। इसके आसपास के क्षेत्रों में [[गेहूँ]], जौ और अन्य फ़सलें उगाई जाती हैं। | ||
==व्यापार और उद्योग== | ==व्यापार और उद्योग== | ||
अलीगढ़ में ताले, कैंचियाँ छुरियाँ, सरौते आदि बनाने के कारख़ाने हैं। यहाँ पर एक बड़ा डेयरी फ़ार्म भी है, जहाँ पर मक्खन और पनीर बनाया जाता है। घोड़े पालने के लिए भी यह नगर प्रसिद्ध है। | अलीगढ़ में ताले, कैंचियाँ छुरियाँ, सरौते आदि बनाने के कारख़ाने हैं। यहाँ पर एक बड़ा डेयरी फ़ार्म भी है, जहाँ पर मक्खन और पनीर बनाया जाता है। घोड़े पालने के लिए भी यह नगर प्रसिद्ध है। | ||
==शिक्षा== | ==शिक्षा== | ||
यहाँ पर अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (1875) और उससे संबद्ध कॉलेज तथा अन्य डिग्री कॉलेज भी हैं। | यहाँ पर [[अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय]] (1875) और उससे संबद्ध कॉलेज तथा अन्य डिग्री कॉलेज भी हैं। | ||
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अलीगढ़ नगर विशेषकर अलीगढ़ यूनीवर्सिटी के लिए प्रसिद्ध है। 1856 ई. से यह नगर भारतीय मुसलमानों का सांस्कृतिक केंद्र बन गया है। जब [[सर सैयर अहमद खाँ]] के प्रयास से यहाँ 'एंग्लो-ओरिएंटल कॉलेज' की स्थापना की गयी। शीघ्र ही यह कॉलेज भारतीय मुसलमानों को अंग्रेज़ी शिक्षा देने वाला प्रमुख केंद्र बन गया। 1920 ई. में 'अलीगढ़ कॉलेज' को विश्वविद्यालय बना दिया गया। अलीगढ़ आन्दोलन, जिसका उद्देश्य उन्नति करना, भारतीय मुसलमानों को पश्चिमी शिक्षा देना, सामाजिक कुरीतियाँ दूर करना और उन्हें 1885 ई. से आरम्भ होने वाली [[भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस]] के प्रभाव से दूर रखना था, उसका केंद्र बिन्दु अलीगढ़ ही था। | |||
==पर्यटन== | ==पर्यटन== | ||
*शहर के बीचोंबीच स्थित प्राचीन क़िला, डोरगढ़ (1524) अब एक खंडहर मात्र रह गया है। | *शहर के बीचोंबीच स्थित प्राचीन क़िला, डोरगढ़ (1524) अब एक खंडहर मात्र रह गया है। | ||
*इसका एक बड़ा हिस्सा 18वीं शताब्दी की एक मस्जिद द्वारा अधिग्रहित कर लिया गया। | *इसका एक बड़ा हिस्सा 18वीं शताब्दी की एक मस्जिद द्वारा अधिग्रहित कर लिया गया। | ||
*अलीगढ़ में अनेक मुसलमान औलिया के मज़ार हैं। | *अलीगढ़ में अनेक मुसलमान औलिया के मज़ार हैं। | ||
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2001 की जनगणना के अनुसार यहाँ की जनसंख्या नगरनिगम क्षेत्र 6,67,732 है और अलीगढ़ ज़िले की कुल जनसंख्या 29,90,388 है। | |||
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[[चित्र:Sir-Syed-Masjid-Aligarh.jpg|thumb|250px|सर सैयद अहमद ख़ान मस्जिद, अलीगढ़
Sir Syed Ahmed Khan Masjid, Aligarh]]
- अलीगढ़ प्राचीन नाम कोइल या कोल भी कहलाता है। अलीगढ़ शहर, उत्तरी भारत के उत्तर-मध्य उत्तर प्रदेश राज्य में है। यह दिल्ली के दक्षिण-पूर्व में स्थित है। इसके पास ही अलीगढ़ नाम का एक क़िला है।
- कोल नाम की तहसील अब भी अलीगढ़ ज़िले में है।
- अलीगढ़ नाम 'नजफ़ खाँ' का दिया हुआ है।
- 1717 ई. में 'साबित खाँ' ने इसका नाम 'साबितगढ़' और 1757 में जाटों ने 'रामगढ़' रखा था।
- उत्तर मुग़ल काल में यहाँ सिंधिया का कब्ज़ा था।
- उसके फ़्रांसीसी सेनापति पेरन का क़िला आज भी खण्डहरों के रूप में नगर से तीन मील दूर है।
- इसे 1802 ई. में लॉर्ड लेक ने जीता था।
- यह क़िला पहले रामगढ़ कहलाता था
इतिहास
उत्तर प्रदेश का एक शहर जिसका आधुनिक भारतीय इतिहास में महत्त्वपूर्ण योग है। अलीगढ़ में एक मज़बूत क़िला था। जिसे दूसरे आंग्ल-मराठा युद्ध में अंग्रेज़ों नें 1803 ई. में मराठों से छीन लिया और इससे दिल्ली को जीतने में उन्हें बड़ी मदद मिली। सन् 1857 के सिपाही-विद्रोह का यह मुख्य केंद्र रहा। नगर में मुसलमानों की आबादी अधिक है।
[[चित्र:Tomb-Of-Sir-Syed-Ahmed-Khan.jpg|thumb|250px|left|सर सैयद अहमद ख़ाँ की क़ब्र, अलीगढ़
Tomb Of Sir Syed Ahmed Khan, Aligarh]]
मुस्लिम लीग की स्थापना
अलीगढ़ कॉलेज के संस्थापकों और वहाँ से निकले छात्रों के राष्ट्रीयता-विरोधी रवैये से अलीगढ़ प्रतिक्रियावादियों का गढ़ समझा जाने लगा। 1906 ई. में अलीगढ़ के कुछ स्नातकों ने मुसलमानों की आकांक्षाओं को व्यक्त करने के लिए मुस्लिम लीग की स्थापना की। कुछ वर्षों तक मुस्लिम लीग ने भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के साथ मिलकर भारत के लिए, शासन-सुधार की माँग की, लेकिन अन्त में, वह घोर साम्प्रदायिक संस्था बन गयी और पाकिस्तान की माँग की। 1946 में उसी माँग के आधार पर भारत का विभाजन हो गया।
कृषि
अलीगढ़ एक कृषि व्यापार केंद्र है, जहाँ कृषि उत्पादों का प्रसंस्करण और विनिर्माण महत्त्वपूर्ण हैं। इसके आसपास के क्षेत्रों में गेहूँ, जौ और अन्य फ़सलें उगाई जाती हैं।
व्यापार और उद्योग
अलीगढ़ में ताले, कैंचियाँ छुरियाँ, सरौते आदि बनाने के कारख़ाने हैं। यहाँ पर एक बड़ा डेयरी फ़ार्म भी है, जहाँ पर मक्खन और पनीर बनाया जाता है। घोड़े पालने के लिए भी यह नगर प्रसिद्ध है।
शिक्षा
यहाँ पर अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय (1875) और उससे संबद्ध कॉलेज तथा अन्य डिग्री कॉलेज भी हैं।
- विश्वविद्यालय की स्थापना
अलीगढ़ नगर विशेषकर अलीगढ़ यूनीवर्सिटी के लिए प्रसिद्ध है। 1856 ई. से यह नगर भारतीय मुसलमानों का सांस्कृतिक केंद्र बन गया है। जब सर सैयर अहमद खाँ के प्रयास से यहाँ 'एंग्लो-ओरिएंटल कॉलेज' की स्थापना की गयी। शीघ्र ही यह कॉलेज भारतीय मुसलमानों को अंग्रेज़ी शिक्षा देने वाला प्रमुख केंद्र बन गया। 1920 ई. में 'अलीगढ़ कॉलेज' को विश्वविद्यालय बना दिया गया। अलीगढ़ आन्दोलन, जिसका उद्देश्य उन्नति करना, भारतीय मुसलमानों को पश्चिमी शिक्षा देना, सामाजिक कुरीतियाँ दूर करना और उन्हें 1885 ई. से आरम्भ होने वाली भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस के प्रभाव से दूर रखना था, उसका केंद्र बिन्दु अलीगढ़ ही था।
पर्यटन
- शहर के बीचोंबीच स्थित प्राचीन क़िला, डोरगढ़ (1524) अब एक खंडहर मात्र रह गया है।
- इसका एक बड़ा हिस्सा 18वीं शताब्दी की एक मस्जिद द्वारा अधिग्रहित कर लिया गया।
- अलीगढ़ में अनेक मुसलमान औलिया के मज़ार हैं।
जनसंख्या
2001 की जनगणना के अनुसार यहाँ की जनसंख्या नगरनिगम क्षेत्र 6,67,732 है और अलीगढ़ ज़िले की कुल जनसंख्या 29,90,388 है।
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