कजलाना: Difference between revisions
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'''कजलाना''' - क्रिया अकर्मक ([[हिन्दी]] काजल)<ref>{{पुस्तक संदर्भ |पुस्तक का नाम=हिंदी शब्दसागर, द्वितीय भाग |लेखक= श्यामसुंदरदास बी. ए.|अनुवादक= |आलोचक= |प्रकाशक=नागरी मुद्रण, वाराणसी |संकलन= |संपादन= |पृष्ठ संख्या=744|url=|ISBN=}}</ref> | '''कजलाना''' - [[क्रिया|क्रिया अकर्मक]] ([[हिन्दी]] काजल)<ref>{{पुस्तक संदर्भ |पुस्तक का नाम=हिंदी शब्दसागर, द्वितीय भाग |लेखक= श्यामसुंदरदास बी. ए.|अनुवादक= |आलोचक= |प्रकाशक=नागरी मुद्रण, वाराणसी |संकलन= |संपादन= |पृष्ठ संख्या=744|url=|ISBN=}}</ref> | ||
*[[काला रंग|काला]] पड़ना। | |||
*साँवला होना। | |||
*[[आग]] का झँवाना। | |||
*आग का बुझना। | |||
'''कजलाना''' - क्रिया सकर्मक | '''कजलाना''' - क्रिया सकर्मक |
Latest revision as of 02:52, 23 November 2021
कजलाना - क्रिया अकर्मक (हिन्दी काजल)[1]
कजलाना - क्रिया सकर्मक
- काजल लगाना।
- आँजना।
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टीका टिप्पणी और संदर्भ
- ↑ हिंदी शब्दसागर, द्वितीय भाग |लेखक: श्यामसुंदरदास बी. ए. |प्रकाशक: नागरी मुद्रण, वाराणसी |पृष्ठ संख्या: 744 |
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