बड़ा इमामबाड़ा लखनऊ: Difference between revisions
[unchecked revision] | [unchecked revision] |
गोविन्द राम (talk | contribs) No edit summary |
गोविन्द राम (talk | contribs) No edit summary |
||
Line 42: | Line 42: | ||
==निर्माण काल== | ==निर्माण काल== | ||
लखनऊ शहर बड़ा इमामबाड़ा नामक एक ऐतिहासिक द्वार का घर है, जहां एक ऐसी अद्भुत [[वास्तुकला]] दिखाई देती है जो आधुनिक वास्तुकार भी देख कर दंग रह जाएं। इमामबाड़े का निर्माण [[आसफ़उद्दौला|नवाब आसफ़उद्दौला]] ने 1784 में कराया था और इसके संकल्पनाकार 'किफायतउल्ला' थे, जो [[ताजमहल]] के वास्तुकार के संबंधी कह जाते हैं। नवाब द्वारा अकाल राहत कार्यक्रम में निर्मित यह क़िला विशाल और भव्य संरचना है जिसे 'असाफाई इमामबाड़ा' भी कहते हैं। इस संरचना में गोथिक प्रभाव के साथ राजपूत और [[मुग़लकालीन स्थापत्य एवं वास्तुकला|मुग़ल वास्तुकलाओं]] का मिश्रण दिखाई देता है। बड़ा इमामबाड़ा एक रोचक भवन है। यह न तो मस्जिद है और न ही मक़बरा, किन्तु इस विशाल भवन में कई मनोरंजक तत्व अंदर निर्मित हैं। कक्षों का निर्माण और वॉल्ट के उपयोग में सशक्त इस्लामी प्रभाव दिखाई देता है। | लखनऊ शहर बड़ा इमामबाड़ा नामक एक ऐतिहासिक द्वार का घर है, जहां एक ऐसी अद्भुत [[वास्तुकला]] दिखाई देती है जो आधुनिक वास्तुकार भी देख कर दंग रह जाएं। इमामबाड़े का निर्माण [[आसफ़उद्दौला|नवाब आसफ़उद्दौला]] ने 1784 में कराया था और इसके संकल्पनाकार 'किफायतउल्ला' थे, जो [[ताजमहल]] के वास्तुकार के संबंधी कह जाते हैं। नवाब द्वारा अकाल राहत कार्यक्रम में निर्मित यह क़िला विशाल और भव्य संरचना है जिसे 'असाफाई इमामबाड़ा' भी कहते हैं। इस संरचना में गोथिक प्रभाव के साथ राजपूत और [[मुग़लकालीन स्थापत्य एवं वास्तुकला|मुग़ल वास्तुकलाओं]] का मिश्रण दिखाई देता है। बड़ा इमामबाड़ा एक रोचक भवन है। यह न तो मस्जिद है और न ही मक़बरा, किन्तु इस विशाल भवन में कई मनोरंजक तत्व अंदर निर्मित हैं। कक्षों का निर्माण और वॉल्ट के उपयोग में सशक्त इस्लामी प्रभाव दिखाई देता है। | ||
चित्र:Bada-imambada- | [[चित्र:Bada-imambada-and-asifi-masjid.JPG|thumb|left|बड़ा इमामबाड़ा और आसिफ़ी मस्जिद]] | ||
==वास्तुकला== | ==वास्तुकला== | ||
बड़ा इमामबाड़ा वास्तव में एक विहंगम आंगन के बाद बना हुआ एक विशाल हॉल है, जहां दो विशाल तिहरे आर्च वाले रास्तों से पहुंचा जा सकता है। इमामबाड़े का केन्द्रीय कक्ष लगभग 50 मीटर लंबा और 16 मीटर चौड़ा है। स्तंभहीन इस कक्ष की छत 15 मीटर से अधिक ऊंची है। यह हॉल लकड़ी, [[लोहा|लोहे]] या पत्थर के बीम के बाहरी सहारे के बिना खड़ी विश्व की अपने आप में सबसे बड़ी रचना है। इसकी छत को किसी बीम या गर्डर के उपयोग के बिना ईंटों को आपस में जोड़ कर खड़ा किया गया है। अत: इसे वास्तुकला की एक अद्भुत उपलब्धि के रूप में देखा जाता है। | बड़ा इमामबाड़ा वास्तव में एक विहंगम आंगन के बाद बना हुआ एक विशाल हॉल है, जहां दो विशाल तिहरे आर्च वाले रास्तों से पहुंचा जा सकता है। इमामबाड़े का केन्द्रीय कक्ष लगभग 50 मीटर लंबा और 16 मीटर चौड़ा है। स्तंभहीन इस कक्ष की छत 15 मीटर से अधिक ऊंची है। यह हॉल लकड़ी, [[लोहा|लोहे]] या पत्थर के बीम के बाहरी सहारे के बिना खड़ी विश्व की अपने आप में सबसे बड़ी रचना है। इसकी छत को किसी बीम या गर्डर के उपयोग के बिना ईंटों को आपस में जोड़ कर खड़ा किया गया है। अत: इसे वास्तुकला की एक अद्भुत उपलब्धि के रूप में देखा जाता है। | ||
Line 62: | Line 62: | ||
|height =250 | |height =250 | ||
|alt =बड़ा इमामबाड़ा | |alt =बड़ा इमामबाड़ा | ||
|caption= [[लखनऊ]] के बड़ा इमामबाड़ा का विहंगम दृश्य | |caption= [[लखनऊ]] के बड़ा इमामबाड़ा का विहंगम दृश्य | ||
}} | }} | ||
<gallery> | <gallery> | ||
Line 68: | Line 68: | ||
चित्र:Iman-Barra-And-Roome-Durwaza-From-Moosah-Bagh.jpg|मूसा बाग़ से बड़े इमामबाड़े और [[रूमी दरवाज़ा लखनऊ|रूमी दरवाज़े]] का एक दृश्य, [[लखनऊ]] (1860) | चित्र:Iman-Barra-And-Roome-Durwaza-From-Moosah-Bagh.jpg|मूसा बाग़ से बड़े इमामबाड़े और [[रूमी दरवाज़ा लखनऊ|रूमी दरवाज़े]] का एक दृश्य, [[लखनऊ]] (1860) | ||
चित्र:Bada-imambada-4.JPG|बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] | चित्र:Bada-imambada-4.JPG|बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] | ||
चित्र:Bada-imambada-from-rumi-darwaza.JPG|[[रूमी दरवाज़ा लखनऊ|रूमी दरवाज़े]] से बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] | |||
चित्र:Bara-Imambara-Lucknow.jpg|बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] (1790-1800) | चित्र:Bara-Imambara-Lucknow.jpg|बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] (1790-1800) | ||
चित्र:Mosque-Of-The-Bara-Imambara-Lucknow.jpg|मस्जिद, बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] ([[मार्च]] और [[जुलाई]] 1803) | चित्र:Mosque-Of-The-Bara-Imambara-Lucknow.jpg|मस्जिद, बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] ([[मार्च]] और [[जुलाई]] 1803) | ||
चित्र:Asafi-Masjid-Bara-Imambara.jpg|आसफ़ी मस्जिद, बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] | चित्र:Asafi-Masjid-Bara-Imambara.jpg|आसफ़ी मस्जिद, बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] | ||
चित्र:Bada-imambada-3.JPG|बड़ा इमामबाड़ा (भीतरी दरवाज़ा) | |||
चित्र:Bara-Imambara-Lucknow-2.jpg|बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] (1900) | चित्र:Bara-Imambara-Lucknow-2.jpg|बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] (1900) | ||
चित्र:Bara-Imambara-Lucknow-1.jpg|बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] (1814- | चित्र:Bara-Imambara-Lucknow-1.jpg|बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] (1814 - 1815) | ||
चित्र:Bara-Imambara-Lucknow-3.jpg|बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] | चित्र:Bara-Imambara-Lucknow-3.jpg|बड़ा इमामबाड़ा, [[लखनऊ]] | ||
</gallery> | </gallery> | ||
Line 79: | Line 81: | ||
{{उत्तर प्रदेश के पर्यटन स्थल}} | {{उत्तर प्रदेश के पर्यटन स्थल}} | ||
[[Category:लखनऊ]] | [[Category:लखनऊ]] | ||
[[Category: | [[Category:उत्तर प्रदेश के पर्यटन स्थल]] | ||
[[Category:उत्तर प्रदेश]] | [[Category:उत्तर प्रदेश]] | ||
[[Category:पर्यटन कोश]] | [[Category:पर्यटन कोश]] | ||
__INDEX__ | __INDEX__ | ||
__NOTOC__ | __NOTOC__ |
Revision as of 13:53, 4 March 2014
बड़ा इमामबाड़ा लखनऊ
| |
विवरण | बड़ा इमामबाड़ा लखनऊ का एक ऐतिहासिक स्मारक है। इसे भूलभुलैया भी कहते हैं। यह आसफ़उद्दौला ने बनवाया था। लखनऊ के इस प्रसिद्ध इमामबाड़े का ऐतिहासिक और सांस्कृतिक महत्व है। |
राज्य | उत्तर प्रदेश |
ज़िला | लखनऊ |
निर्माता | आसफ़उद्दौला |
स्थापना | 1784 |
भौगोलिक स्थिति | उत्तर- 26.869104°; पूर्व- 80.912885° |
मार्ग स्थिति | चारबाग़ रेलवे स्टेशन से बड़ा इमामबाड़ा 5.3 किमी की दूरी पर स्थित है। |
कैसे पहुँचें | हवाई जहाज़, रेल, बस आदि से पहुँचा जा सकता है। |
हवाई अड्डा | अमौसी अंतर्राष्ट्रीय हवाई अड्डा |
रेलवे स्टेशन | चारबाग़ रेलवे स्टेशन, ऐशबाग़ रेलवे स्टेशन, लखनऊ सिटी रेलवे स्टेशन, आलमनगर रेलवे स्टेशन, बादशाहनगर रेलवे स्टेशन, अमौसी रेलवे स्टेशन |
बस अड्डा | चारबाग़ बस टर्मिनस, केसरबाग़ बस टर्मिनस, डॉ. भीमराव अम्बेडकर बस टर्मिनस |
यातायात | टैक्सी, साइकिल रिक्शा, ऑटोरिक्शा |
क्या देखें | भूलभुलैया, आसफ़ी मस्जिद, रूमी दरवाज़ा |
एस.टी.डी. कोड | 0522 |
ए.टी.एम | लगभग सभी |
चित्र:Map-icon.gif | गूगल मानचित्र |
संबंधित लेख | घंटाघर, छोटा इमामबाड़ा, जामा मस्जिद, मोती महल
|
अन्य जानकारी | नवाब द्वारा अकाल राहत कार्यक्रम में निर्मित यह क़िला विशाल और भव्य संरचना है जिसे 'असाफाई इमामबाड़ा' भी कहते हैं। |
अद्यतन | 17:55, 31 अक्टूबर 2011 (IST)
|
भारत के उत्तर प्रदेश राज्य की राजधानी, लखनऊ एक आधुनिक शहर है, जिसके साथ भव्य ऐतिहासिक स्मारक होने का गर्व जुड़ा हुआ है। गंगा नदी की सहायक नदी, गोमती के किनारे बसा लखनऊ शहर अपने उद्यानों, बागीचों और अनोखी वास्तुकलात्मक इमारतों के लिए जाना जाता है। 'नवाबों के शहर' के नाम से मशहूर लखनऊ शहर में सांस्कृतिक और पाक कला के विभिन्न व्यंजनों से अपने आकर्षण को बनाए रखा है। इस शहर के लोग अपने विशिष्ट आकर्षण, तहजीब और उर्दू भाषा के लिए प्रसिद्ध हैं। लखनऊ शहर एक विशिष्ट प्रकार की कढ़ाई, चिकन से सजे हुए परिधानों और कपड़ों के लिए भी प्रसिद्ध है।
निर्माण काल
लखनऊ शहर बड़ा इमामबाड़ा नामक एक ऐतिहासिक द्वार का घर है, जहां एक ऐसी अद्भुत वास्तुकला दिखाई देती है जो आधुनिक वास्तुकार भी देख कर दंग रह जाएं। इमामबाड़े का निर्माण नवाब आसफ़उद्दौला ने 1784 में कराया था और इसके संकल्पनाकार 'किफायतउल्ला' थे, जो ताजमहल के वास्तुकार के संबंधी कह जाते हैं। नवाब द्वारा अकाल राहत कार्यक्रम में निर्मित यह क़िला विशाल और भव्य संरचना है जिसे 'असाफाई इमामबाड़ा' भी कहते हैं। इस संरचना में गोथिक प्रभाव के साथ राजपूत और मुग़ल वास्तुकलाओं का मिश्रण दिखाई देता है। बड़ा इमामबाड़ा एक रोचक भवन है। यह न तो मस्जिद है और न ही मक़बरा, किन्तु इस विशाल भवन में कई मनोरंजक तत्व अंदर निर्मित हैं। कक्षों का निर्माण और वॉल्ट के उपयोग में सशक्त इस्लामी प्रभाव दिखाई देता है। thumb|left|बड़ा इमामबाड़ा और आसिफ़ी मस्जिद
वास्तुकला
बड़ा इमामबाड़ा वास्तव में एक विहंगम आंगन के बाद बना हुआ एक विशाल हॉल है, जहां दो विशाल तिहरे आर्च वाले रास्तों से पहुंचा जा सकता है। इमामबाड़े का केन्द्रीय कक्ष लगभग 50 मीटर लंबा और 16 मीटर चौड़ा है। स्तंभहीन इस कक्ष की छत 15 मीटर से अधिक ऊंची है। यह हॉल लकड़ी, लोहे या पत्थर के बीम के बाहरी सहारे के बिना खड़ी विश्व की अपने आप में सबसे बड़ी रचना है। इसकी छत को किसी बीम या गर्डर के उपयोग के बिना ईंटों को आपस में जोड़ कर खड़ा किया गया है। अत: इसे वास्तुकला की एक अद्भुत उपलब्धि के रूप में देखा जाता है।
भूलभुलैया
इस भवन में तीन विशाल कक्ष हैं, इसकी दीवारों के बीच छुपे हुए लम्बे गलियारे हैं, जो लगभग 20 फीट मोटी हैं। यह घनी, गहरी रचना भूलभुलैया कहलाती है और इसमें केवल तभी जाना चाहिए जब आपका दिल मज़बूत हो। इसमें 1000 से अधिक छोटे छोटे रास्तों का जाल है जिनमें से कुछ के सिरे बंद हैं और कुछ प्रपाती बूंदों में समाप्त होते हैं, जबकि कुछ अन्य प्रवेश या बाहर निकलने के बिन्दुओं पर समाप्त होते हैं। एक अनुमोदित मार्गदर्शक की सहायता लेने की सिफारिश की जाती है, यदि आप इस भूलभुलैया में खोए बिना वापस आना चाहते हैं।
बावड़ी
इमामबाड़े की एक और विहित संरचना 5 मंजिला बावड़ी (सीढ़ीदार कुंआ) है, जो पूर्व नवाबी युग की है। शाही हमाम नामक यह बाबड़ी गोमती नदी से जुड़ी है। इसमें पानी से ऊपर केवल दो मंज़िले हैं, शेष तल पानी के अंदर पूरे साल डूबे रहते हैं।
|
|
|
|
|
वीथिका
-
बड़े इमामबाड़े और रूमी दरवाज़े का द्वार, लखनऊ (1900)
-
मूसा बाग़ से बड़े इमामबाड़े और रूमी दरवाज़े का एक दृश्य, लखनऊ (1860)
-
बड़ा इमामबाड़ा, लखनऊ
-
रूमी दरवाज़े से बड़ा इमामबाड़ा, लखनऊ
-
बड़ा इमामबाड़ा, लखनऊ (1790-1800)
-
आसफ़ी मस्जिद, बड़ा इमामबाड़ा, लखनऊ
-
बड़ा इमामबाड़ा (भीतरी दरवाज़ा)
-
बड़ा इमामबाड़ा, लखनऊ (1900)
-
बड़ा इमामबाड़ा, लखनऊ (1814 - 1815)
-
बड़ा इमामबाड़ा, लखनऊ
संबंधित लेख