कवष: Difference between revisions
Jump to navigation
Jump to search
[unchecked revision] | [unchecked revision] |
No edit summary |
व्यवस्थापन (talk | contribs) m (Text replace - "{{ॠषि-मुनि2}}{{ॠषि-मुनि}}" to "{{ऋषि मुनि2}}{{ऋषि मुनि}}") |
||
Line 10: | Line 10: | ||
==संबंधित लेख== | ==संबंधित लेख== | ||
{{ | {{ऋषि मुनि2}}{{ऋषि मुनि}} | ||
[[Category:ऋषि मुनि]] | [[Category:ऋषि मुनि]] | ||
[[Category:नया पन्ना]] | [[Category:नया पन्ना]] | ||
__INDEX__ | __INDEX__ |
Revision as of 13:32, 7 August 2011
चित्र:Icon-edit.gif | इस लेख का पुनरीक्षण एवं सम्पादन होना आवश्यक है। आप इसमें सहायता कर सकते हैं। "सुझाव" |
- कवष ऋषि जो इलूष के पुत्र थे, यह एक दासी के गर्भ से उत्पन्न हुए थे। कवष के बनाये मंत्र ऋग्वेद के दसवें मण्डल में मिलते हैं। ऐतरेय ब्राह्मण के लेखों के अनुसार सारस्वत प्रदेश में एक यज्ञ हो रहा था। कवष ने ऋषियों की पंक्ति में बैठकर भोजन-पानी करना चाहा, पर ऋषियों ने दासी-पुत्र कहकर इनका बहिष्कार किया। तदुपरांत इन्होंने बहुत से मंत्र रचकर देवताओं को प्रसन्न किया तब ऋषियों ने भी भेदभाव दूरकर कवष को अपनी पंक्ति में सम्मिलित कर लिया।[1]
- एक ऋषि जो तुरके पिता थे। यह युधिष्ठिर यज्ञ में आमंत्रित थे और प्रायोपवेश के समय परीक्षित से मिलने गये थे।[2]
|
|
|
|
|
टीका टिप्पणी और संदर्भ
- ↑ ऐतरेय ब्राह्मण 2.29.
- ↑ भागवत पुराण 9.22.37;10.74.7;1.19.10