मॉरीशस: Difference between revisions
[unchecked revision] | [unchecked revision] |
m (श्रेणी:नया पन्ना फ़रवरी-2012; Adding category Category:विदेश (को हटा दिया गया हैं।)) |
m (Adding category Category:देश (को हटा दिया गया हैं।)) |
||
Line 27: | Line 27: | ||
[[Category:विदेशी स्थान]] | [[Category:विदेशी स्थान]] | ||
[[Category:विदेश]] | [[Category:विदेश]] | ||
[[Category:देश]] | |||
__INDEX__ | __INDEX__ |
Revision as of 10:50, 18 February 2012
चित्र:Icon-edit.gif | इस लेख का पुनरीक्षण एवं सम्पादन होना आवश्यक है। आप इसमें सहायता कर सकते हैं। "सुझाव" |
मॉरीशस दुनिया के सबसे ख़ूबसूरत द्वीपों में से एक है जिसके लिए मार्क ट्वेन ने कहा था, "ईश्वर ने पहले मॉरीशस बनाया और फिर उसमें से स्वर्ग की रचना की।" मॉरीशस और भारत का बहुत गहरा नाता है। मॉईशस को औपनिवेशिक शासन से आज़ादी दिलाने में भारतीय मूल के सर शिवसागर रामगुलाम ने अगुआई की थी। आज भी वहाँ हिन्दी और भोजपुरी का प्रचलन देखकर आपको विदेशी जगीन पर अपनी मिट्टी की महक आएगी। मॉरीशस नीले सागर और श्वेत सागर तटों का देश है।
पर्यटन
दूर-दूर तक फैले सफ़ेद समुद्र तट मॉरीशस को सपनों सा सुंदर बना देते हैं। सफ़ेद रेत से चमकते इसके तट उन लोगों के लिए स्वर्ग हैं जो समुद्र का आनंद उठाना चाहते हैं या बस धूप सेंकना चाहते हैं। द्वीप में हर ओर बड़े-बड़े सार्वजनिक समुद्र तट हैं जो सप्ताह के दौरान आपके आराम करने के लिए अनंत संभावनाएँ और सप्ताहांतों में स्थानीय लोगों से मिलने-जुलने के व्यापक अवसर मुहैया कराते हैं। अधिकांश सार्वजनिक तट तैरने के लिए आदर्श हैं। मॉरीशस का उत्तरी भाग वाटर स्पोर्ट्स जैसे वाटर स्कीइंग, विंड सर्फिंग, सेलिंग, गहरे जल में मछलियाँ पकड़ने और पैरासेलिंग आदि के लिए प्रसिद्ध है। शाम को यहाँ के बार, रेस्तरां और क्लब जीवंत हो उठते हैं जहाँ से आप सूर्यास्त का नज़ारा भी देख सकते हैं।
- पूर्वी हिस्सा अधिक हरा-भरा और अल्पविकसित है जिसकी वजह से यहाँ पर आपको प्रकृति पूरे रंग में दिखती हैं। पालमार और बैल मार के सफ़ेद समुद्र तट बहुत ही सुरम्य हैं।
- दक्षिण पूर्व अपने ऊँचे चट्टानों के लिए मशहूर है जहाँ से द्वीप के दक्षिणी सिरे की ओर जाने पर आपको ख़ूबसूरत नज़ार दिखते हैं। यहाँ पर चट्टानों के बीच के दरारों से खुला समुद्र जमीन तक आ जाता है और चट्टानों से टकराते हुए एक स्वप्निल दृश्य उत्पन्न करता है।
- पश्चिमी तट में आप अद्भुत सूर्यास्तों और गहरे जल में मछली पकड़ने का आनंद उठा सकते है। सर्फरों को टेमेरिन जाना चाहिए जो मॉरीशस का सर्फिग सेंटर है। यहाँ पर शुरूआत करने वाले लोग सर्फ स्कूल में सर्फ़िंग के बेसिक्स सीख सकते हैं।
- मॉरीशस के अधिकांश बीच होटल अपने ग्राहकों को कांप्लिमेंटरी वाटर स्पोर्ट्स सुविधाँ मुहैया कराते हैं। स्कूबा डाइविंग, पैरासेलिंग और डीप सी फिशिंग अतिरिक्त लागत पर उपलब्ध है।
आस-पास
पोर्ट लुइस और नार्थ के आकर्षक 360 डिग्री नज़ारे के लिए 812 मीटर ऊँचाई पर स्थित ला पूर या 'द थंब' पर चढाई करें। यह ला लॉरा गांव से दो घंटे की आसान चढ़ाई है और पोर्ट लुइस पहुँचने में और 2 घंटे लगते है। आप बाइक, घोड़े या चारपहिया वाहन से मोका माउटेन पर जा सकते हैं जहाँ डोमेन पेलिस का 1500 हेक्टेयर में फैला नेचर पार्क है। आप ट्रेन या घोड़ागाड़ी में शुगर मिल और रम डिस्टिलरी भी जा सकते हैं। स्थानीय वनस्पति, पक्षियों और वन्य जीवन देखने के लिए आप ब्लैक रिवर जार्ज नेशनल पार्क जा सकते हैं। हज़ारों नील मगरमच्छों की वजह से ला वेनिल डिस मेस्केराइंस को आम भाषा में 'क्रोकोडाइल पार्क' भी कहा जाता है। आप राजशानी पोर्ट लुइस में ख़ूबसूरत औपनिवेशिक शिल्पकला के उदाहरण देह सकते हैं जैसे गवर्नमेंट हाउस। ब्लू पेनी म्यूजियम में दुनिया के दुर्लभतम स्टैंप देखें या नेचुरल हिस्ट्री म्यूओजियम की सैर करें। पोर्ट लुइस के चहल-पहल वाले सेट्र्ल मार्केट, द कॉडन वाटरफ्रंट के क्राफ्ट मार्केट या द्वीप में हर कहीं दिखने वाले शॉपिंग सेंटरों से आप स्मृति चिह्न की खरीदारी कर सकते हैं।
यातायात और परिवहन
मॉरीशस जाने के लिए मुंबई, चेन्नई और दिल्ली से एयर मॉरीशस की उड़ानें हैं जो मुंबई से सप्ताह में 4 बार, चेन्नई से 1 बार और दिल्ली से 2 बार उड़ान भारती हैं। सर शिबसागर रामगुलाम हवाईअड्डा जिसे आम तौर पर प्लेसेंस एयरपोर्ट कहा जाता है, पोर्ट लुइस से 48 किमी दक्षिणपूर्व में है। शहर जाने-आने के लिए टैक्सियाँ उपलब्च हैं जिसमें 45 मिनट का समय लगता है।
मौसम
यहाँ का तापमान गरमियों (नवंबर से अप्रैल) में 23 डिग्री से 33 डिग्री तक और सर्दियों (मई से अक्टूबर) में 17 डिग्री से 23 डिग्री तक होता है। सबसे नमी वाले महीने दिसंबर से मार्च तक होते हैं। गरमियों में सन प्रोटेक्शन उत्पाद और हैट ले जाना उचित होता है।
भाषा
अंग्रेज़ी यहाँ की सरकारी भाषा है। फ्रेंच और क्रेओल भाषाएँ खूब बोली जाती हैं। हिन्दी और भोजपुरी भी काफ़ी प्रचलित हैं।
खानपान
यहाँ का स्थानीय जायका 3 महाद्वीपों से आया है जो समय-समय पर उन महाद्वीपों से यहाँ आकर बसे विभिन्न सास्कृतिक विरासतों और पाक परंपराओं वाले निवासियों ने विकसित ई हैं। आगंतुक एक ही जगह भारतीय, चीनी, ग्रेओल और यूरोपीय व्यंजनों आ स्वाद चख सकते मिलाकर अनूठा स्वाद बनाते हैं। यहाँ का स्थानीय पसंदिदा स्नैक 'ढोल पूरी' जरूर आजमाएँ, यह पीली मटर की दाल भरे आटे की पूरी होती है जिसए करी और टमाटर के सॉस के साथ परोसा जाता है। फ़राटा, जिल्र्र बाइट्स या 'समोसा' भी यहाँ खूब पसंद किए जाते हैं।
|
|
|
|
|
टीका टिप्पणी और संदर्भ
बाहरी कड़ियाँ
संबंधित लेख