रंग पंचमी: Difference between revisions

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रंग पंचमी को '''देव पंचमी''' (Dev Panchami) और '''श्री पंचमी''' के नाम से भी जाना जाता है। [[हिंदू धर्म]] में इस दिन का खास महत्व होता है, क्योंकि [[कृष्ण पक्ष]] की [[पंचमी |पंचमी तिथि]] को [[भगवान कृष्ण]] और [[राधा |राधा रानी]] ने [[होली]] खेली थी। इस दिन पर देवी-देवताओं को रंग-गुलाल अर्पित किया जाता है। पौराणिक कथाओं के अनुसार, रंग पंचमी का दिन देवी-देवताओं को समर्पित होता है। ऐसा कहा जाता है कि इस दिन रंगों का प्रयोग करने से दुनिया में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है। माना जाता है कि इस दिन जो रंग एक-दूसरे को लगाते हैं वह आसमान की ओर उड़ाते हैं। ऐसा करने से देवी-देवता आकर्षित होकर अपनी कृपा बरसाते हैं।
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Revision as of 05:22, 19 March 2025

thumb|200px|रंग पंचमी रंग पंचमी को देव पंचमी (Dev Panchami) और श्री पंचमी के नाम से भी जाना जाता है। हिंदू धर्म में इस दिन का खास महत्व होता है, क्योंकि कृष्ण पक्ष की पंचमी तिथि को भगवान कृष्ण और राधा रानी ने होली खेली थी। इस दिन पर देवी-देवताओं को रंग-गुलाल अर्पित किया जाता है। पौराणिक कथाओं के अनुसार, रंग पंचमी का दिन देवी-देवताओं को समर्पित होता है। ऐसा कहा जाता है कि इस दिन रंगों का प्रयोग करने से दुनिया में सकारात्मक ऊर्जा का संचार होता है। माना जाता है कि इस दिन जो रंग एक-दूसरे को लगाते हैं वह आसमान की ओर उड़ाते हैं। ऐसा करने से देवी-देवता आकर्षित होकर अपनी कृपा बरसाते हैं।

  1. REDIRECTसाँचा:इन्हें भी देखें


टीका टिप्पणी और संदर्भ

  1. धर्मशास्त्र गत अध्याय 12।

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